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विस्थापितों की घर वापसी शुरू

१३ जुलाई २००९

तालिबान के ख़िलाफ़ सैन्य अभियान के कारण विस्थापित हुए स्वात घाटी के लगभग बीस लाख लोगों को पाकिस्तानी सरकार ने वापस भेजना शुरू कर दिया है.

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विस्थापित बच्चेतस्वीर: picture alliance / landov

अधिकारियों ने बुनेर ज़िले के निकट स्थित नौशेरा और चारसड्डा के कैंपों में रह रहे परिवारों को स्वात घाटी में ले जाना शुरू कर दिया है. नौशेरा के जलोज़ई कैंप के अधिकारी ताहिर ओराकज़ई का कहना है, "अब तक हमने 108 परिवारों को भेज दिया है और यह प्रक्रिया पूरे दिन जारी रहेगी."

लेकिन लड़ाई और ख़ून ख़राबे के डर से लोग अभी भी वापस जाने से घबरा रहे हैं. समाचार एजेंसी डीपीए का कहना है कि उन्हें ले जा रही गाड़ियां आधी खाली थीं. संयुक्त राष्ट्र ने पिछले सप्ताह कहा था कि विस्थापितों की वापसी उनकी इच्छा से होनी चाहिए.

ताहिर ओराकज़ई का कहना है कि जैसे ही पहला जत्था सुरक्षित रूप से स्वात पहुंच जाएगा, कैंपों में रह रहे दूसरे लोग भी जाने को तैयार हो जाएंगे और अपने शहरों में सुरक्षा के बारे में उनकी चिंता भी दूर हो जाएगी. पुलिस के जत्थे कैंपों से वापस जा रहे लोगों के साथ जा रहे हैं जबकि स्वात में उन्हें सेना सुरक्षा मुहैया कराएगी.

सेना का कहना है कि उसने तालिबान के लड़ाकों को देश के पश्चिमोत्तर में उनके गढ़ से बाहर खदेड़ दिया है. दूसरी ओर सरकार भी चाहती है कि उस इलाक़े के लोग जल्द से जल्द अपने घरों में वापस लौट जाएं.

कभी पर्यटकों का स्वर्ग कहे जाने वाले स्वात और उसके आस पास के ज़िलों को स्थानीय कट्टरपंथी मौलाना फज़लुल्लाह के नेतृत्व में इस्लामी कट्टरपंथियों ने अपने नियंत्रण में ले लिया था. उसके बाद सेना ने अप्रैल में कट्टरपंथियों के ख़िलाफ़ अभियान शुरू किया जिसके कारण 20 लाख लोग इलाक़ा छोड़कर भाग गए थे.

रिपोर्टः एजेंसिंयां/महेश झा

संपादनः ए कुमार